Preeti Pal Biography In Hindi: हर साल भारत में कुछ ऐसे लोग आते हैं जिनका कहानी काफी प्रेरणादायक होता है | किसी न किसी क्षेत्र में लोग इस तरह से काम करते हैं कि लोगों को उनके बारे में जानकारी काफी ज्यादा मोटिवेशन मिलती है | ठीक है उसी प्रकार इस साल पेरिस में खेले गए पैरा ओलंपिक में प्रीति पाल ने इतिहास रचा है | उन्होंने 100 मीटर की रेस में ब्रोंज मेडल जीतकर इतिहास बनाया है |
जिन लोगों को प्रीति पाल के बारे में नहीं पता है उन्हें मैं बता दूं प्रीति उत्तर प्रदेश में एक किसान के घर पैदा हुई है | जन्म के वक्त उनके शरीर का निचला हिस्सा इतना ज्यादा कमजोर था कि उन्हें प्लास्टर से बंधना पड़ा | इन सब के बावजूद उनके परिवार और प्रीति नहीं हिम्मत नहीं हारी और अपना एक नया पहचान बनाएं | यदि आपको प्रीति के जीवन से जुड़े सभी महत्वपूर्ण जानकारी को जानना है तो आपको इस लेख के साथ बने रहना होगा |
Preeti Pal Biography In Hindi | प्रीती पाल का जीवन परिचय
प्रीति पाल का जन्म 22 सितंबर 2000 को उत्तर प्रदेश में हुआ | उनका परिवार किसानी करते हैं | बचपन में ही उनका शरीर इतना ज्यादा कमजोर था कि उनके शरीर के नीचे को प्लास्टर मारना पड़ा था | उन्हें सेरेब्रल पाल्सी की बीमारी थी | पारिवारिक हालत ठीक नहीं होने कारण उनका ठीक से इलाज भी नहीं हो पाया था | पंजाबी सिर्फ 6 साल की थी तभी उन्हें कैलिपर पहनना पड़ा था | कई लोगों का मानना था कि उनके जीवित रहना भी मुश्किल है | इनका के बावजूद प्रीति ने अपने अंदर का साहस और विश्वास को साथ में लेकर आगे बढ़ी |
साल 2024 में खेले जा रहे पेरिस पैरालंपिक में उन्होंने भारत का प्रतिनिधित्व किया | इस ओलंपिक में उन्होंने दो पदक जीत कर इतिहास बनाया | उन्होंने ट्रैक और फील्ड में पदक जीतने वाली पहली भारतीय महिला बनने का गौरव प्राप्त किया | ऐसा इससे पहले किसी भी भारतीय खिलाड़ियों द्वारा नहीं किया गया था |
नाम | प्रीति पाल |
जन्म | 22 सितंबर 2000 |
जन्म स्थान | मेरठ, उत्तर प्रदेश |
काम | पैरालंपिक एथलीट |
पदक | 2 कस्य पदक 2024 पेरिस पैरालंपिक |
प्रीती पाल का करियर
प्रीति जब 17 साल की थी तब उन्हें सोशल मीडिया के जरिए पैरालंपिक के बारे में पता चला | यह जानकारी उनके मन में अपने सपने को पूरा करने का एक रास्ता मिला | लेकिन परिवार का आर्थिक स्थिति सही नहीं होने के कारण उन्हें मदद नहीं मिल पा रही थी | फिर भी प्रीति ने हार नहीं मानी और वह मेहनत करने लगी |
कुछ समय बीतने के बाद उनका मुलाकात फातिमा खातून से हुआ | इन्होंने प्रीति को पैरा ओलंपिक में जाने के लिए मदद करने लगी | 2018 में फातिमा की मदद से प्रीति को स्टेट पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप मैं भाग लेने का मौका मिला |
साल 2022 में उन्होंने एशियन पैरा गेम्स में चौथा स्थान प्राप्त किया | उन्होंने 100 मीटर और 200 मीटर के मुकाबले में यह स्थान प्राप्त किया था | इसके कुछ दिनों बाद उन्होंने दिल्ली में गजेंद्र सिंह जी के अंतर्गत ट्रेनिंग लेना शुरू किया | उनसे प्राप्त किए ट्रेनिंग के मदद से उन्होंने 2024 में वर्ल्ड पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप क्वालीफाई किया | जिसमें उन्होंने 2 ब्रोंज मेडल जीत कर अपना एक नया नाम बनाया |
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साल 2024 में ही उन्हें पेरिस में खेले गए पैरा ओलंपिक में भाग लेने का मौका मिला | यह उनके जीवन का सबसे बड़ा उपलब्धि है क्योंकि प्रीति का सपना ही बड़ा ओलंपिक में जाने का था | इस ओलंपिक में उन्होंने वह कर दिखाया जो आज तक किसी भी भारतीय महिला खिलाड़ी ने नहीं किया था | उन्होंने इस ओलंपिक में दो कांस्य पदक जीत कर एक नया इतिहास बनाया |
यदि आपको Preeti Pal Biography Hindi अच्छा लगा है तो आप हमें कमेंट के माध्यम से अपनी प्रतिक्रिया दे सकते हैं | दोस्तों अभी के समय में प्रीति हर किसी के लिए प्रेरणा का प्रतीक बन चुकी है | जिन लोगों को लगता है उनके हाथ पैर ठीक नहीं है तो वह कुछ भी नहीं कर सकते हैं | उन सभी को प्रीति के बारे में जानना चाहिए ताकि उन्हें जीने का एक नया मकसद मिल सके |
Priti pal Hasampur muzaffarnagar ki rhne wali hai na ki Meerut ki phle Puri jankari juta liya kro
sir wikkipedia me bhi merrut hi likha hai